हमारें वारे में
ब्रजेश मिश्र
संयोजक सह संपादक
श्रद्धेय प्रबुद्धजनों
सादर प्रणाम।
हम ऋणि हैं आपसभी का क्योंकि आपका आशीर्वाद, स्नेह, मार्ग-दर्शन, उचित सलाह – सुझाव ने नियमित हमारे टीम का हौसला बढ़ाया है। पिछले एक दशक से सामाजिक कार्यों को लेकर आपके बीच में हैं और “’ केवल सच सामाजिक संस्थान’” सामाजिक दायित्वों का निर्वहन बखूबी कर रहा है। शिक्षा का क्षेत्र हो या स्वास्थ्य का, अधिकार की बात हो या न्याय का, सुरक्षा की बात हो या योजना का हम पूरी निष्ठा के साथ समाज के साथ कंधा से कंधा मिलाकर चलते हैं। आज दलित-महादलित की राजनीति हो रही है पर दलित बस्तियों में जाकर काम करने वाले कौन नेता है जिनको इस बात की परवाह है की फलां का लड़का आज स्कूल गया की नहीं?आज फलां के घर का चूल्हा जला की नहीं? विधवा, वृद्धा मु 5. बिकलांग पेंशन मिला की नहीं?जाति, आवासीय, आय प्रमाण पत्र लेने में कोई परेशानी तो नहीं आ रही है?लेकिन केवल सच ब्रजेश मिश्र सामाजिक संस्थान न सिर्फ दलित एवं सलम बस्तियो में जाकर जागरूकता का काम कर रही है कक अच परिवार के बीच भी दा क भारत सरकार एवं राज्य सरकार के द्वारा चलाये जा रहे जनहित कार्यक्रमों की सूचना उपलब्ध कराती है तथा उनको जागरूक करती संयोजक सह संस्थापक दउै क्ी उक्त स्थान पर फॉर्म मिलता है और इस प्रकार इसे भरा जाता है और वहां जमा करके योजना का लाभ लिया जाता है और वहां असुविधा होने पर संस्थान के प्रतिनिधि वहां जाकर उनका सहयोग करते हैं। केवल सच सामाजिक संस्थान भी केवल सच ग्रुप का एक मजबूत हिस्सा है क्योंकि “केवल सच’”’ राष्ट्रीय हिन्दी मासिक पत्रिका और “* केवल सच टाइम्स ”’ राष्ट्रीय ट्विभाषीय मासिक पत्रिका और |४७७७।४४०॥।४९.॥॥ पोर्टल न्यूज के माध्यम से भी हम आम आदमी के हक एवं अधिकार क लिए सरकार एवं उसके विभाग से जुड़कर काम कराते हैं और उन्हें वह सुविधा मुहैय्या कराते हैं जिसके वह हकदार हैं। राज्य एवं केन्द्र सरकार से मिलने वाली योजना सरकार के पास से पास हो जाती है पर किरानी बाबू और अधिनस्थ पदाधिकारी की लालच की वजह से सरकार बदनाम होती है लेकिन हम पत्रकारिता के माध्यम से अपनी शक्ति का भी एहसास कराते हैं ताकि सामाजिक कार्य सही समय पर संभव हो सके। केवल सच सामाजिक संस्थान भी बेसहारा बुजुर्गों एवं अनाथ बच्चों के लिए वृद्धाश्रम बनाने के दिशा में कदम बढ़ा चुकी है और इस कार्य को पूर्ण करने में लगभग ।3 करोड के करीब खर्च होने के अनुमान है। हम पूरी योजना ७/७४७४:।.४३ .०8. के वेवसाइट पर छोड् चुके है जिससे सभी प्रब॒ुद्धजनों को समझने में सहूलियत होगी। संगठन में सामाजिक कार्य के लिए दान करने वाले दानकर्त्ताओं को आयकर अधिनियम 2ए एवं 80 जी के तहत विशेष छूट भी मिलेगा। केवल सच सामाजिक संस्थान 2009 में निबंधित हुआ था और तब से लेकर आज तक विभिन क्षेत्रों में अपना योगदान देता आया है लेकिन सरकारी योगदान आज तक नहीं लिया गया है। केवल सच सामाजिक संस्थान एक ऐसा गैर सरकारी संगठन है जो मानवीय सहायता पर केन्द्रीत होकर काम करता है और केवल सच, हिन्दी मासिक पत्रिका और “केवल सच टाइम्स’” पत्रिका भी संगठन का प्रचार-प्रसार करता है और जजज.८९छ३5३४०॥,००॥ और छएछ/७छ-॥९७०३४३०॥॥॥९5.००॥ सहित एएए-.३गपा०णाप्रां?क्वीं जा।पञ 09 पर भी संगठन का प्रसार होता है। केवल सच सामाजिक संस्थान ने शिक्षा के क्षेत्र में भी व्यापक पैमाने पर कार्य करने का इरादा बना चुकी है और [05 (7प्रापा6 0९ए]0एगञाल्या। $000[) नामक विद्यालय भी चलाने की दिशा में काम कर रही है। सभी जिला में अपना घर और विद्यालय चलाने का अभियान है और सम्पन्न लोगों से यह भी अपील है की वह अपनी जमीन दान में देकर संगठन के साथ कंधा से कंधा मिलाकर चल सकते हैं और उस कमिटि के स्थानीय प्रबंधक बनकर उसके कार्य का पूरा लेखा-जोखा रख सकते सामाजिक कार्य किसी एक व्यक्ति के प्रयास से ही सफल नहीं होता बल्कि सामूहिक प्रयास के बल पर ही कोई भी बड़ा कार्य संपादित होता है और केवल सच सामाजिक संस्थान को अपने भारत कौ प्रबुद्धजनों पर पूर्ण भरोसा है कि वह हमें अपनी ताकत देगी। केवल सच सामाजिक संस्थान ने यह भी निर्णय लिया है सेना के जवान सीमा पर शहीद हो गये हैं उनके परिजन भी अपना घर में आना चाहेंगे तो उनका हार्दिक स्वागत किया जायेगा और शहीद के परिजनों को हम अपने सगे-संबंधी से भी अधिक ख्याल रखेंगे ताकि जिनकी चौकसी से हम अब तक सुरक्षित रहे हैं उनका ऋण हम उनके परिजनों की सेवा करके उतार सकते हैं। कहा जाता है की संघे शक्ति कलियुगे के दम ‘पर हम समाज के विस्तृत क्षेत्र के संदर्भ में पत्रकारिता का निम्नलिखित दायित्व है जिसको संस्थान ने बखूबी निभाया। ७ सामाजिक जनमत को अभिव्यक्ति देना। ७ समाज को उचित दिशा-निर्देशित करना। ७ जन-जन को स्वस्थ मनोरंजन की पूर्ण सामग्री देना। ७ सामाजिक क्रीतियों (बाल विवाह, विधवा-उपेक्षा, दहेज, बहू हत्या, वेश्यावृति, अंधविश्वास, भ्रष्टाचार, घोटाला) को मिटाने की दिशा में प्रभावी कदम उठाना। ७ धार्मिक और सांस्कृतिक पक्षों का दो टूक विवेचन करना। ७ सामान्य जन को उनकी ही भाषा में उनके अधिकारों को समझाना। ७ कृषि-जगत उपलब्धियों को साधारण जनता तक पहुँचाना। ७ उद्योग-जगत की उपलब्धियों को जन-जन तक पहुँचाना। ७ सरकारी नीतियों का विश्लेषण एवं प्रसारण। ७ महिला-जगत, बाल-जगत, क्रौड़ा-जगत, चलचित्र-जगत के विविध कार्यक्रमों का प्रसार ७ स्वास्थ्य-जगत, परिवार-कल्याण के प्रति नागरिकों को सचेत करना। ७ शिक्षा, शिक्षक, विद्यार्थी वर्ग को सही मार्ग बतलाना। ७ सर्वधर्म समृभाव एवं सौहार्द-भाव को चुष्ट करना संकटकालीन परिस्थितियों में राष्ट्र का मनोबल बढ़ाना। ७ “वसुधैव कुटुम्बकम्’ की भावना का प्रसार करना। क्या हमारा गुनाह बस इतना ही है कि हम आम आदमी की आवाज उठा रहे हैं?क्या हमने भ्रष्टाचार के विरूद्ध सच छापना शुरू किया जिससे भ्रष्टाचारी सलाखों के पीछे जा रहे हैं, क्या हमें ऐसा नहीं करना चाहिए. था? स्वतंत्रता संग्राम में अधिवक्ताओं की भूमिका काफी महत्वपूर्ण थी और आजादी के बाद भी स्वराज के लिए इनका युद्ध निरंतर जारी है। केवल सच सामाजिक संस्थान के कर्मठ एवं निष्ठावान कार्यकत्ताओं से अपील है की वह अपने क्षेत्र में वैसे बुजूर्ग का चयन करें और अनाथ बच्चों का भी खोज करना है जिनका कोई सहारा नहीं है उन्हें अपना घर में उचित सम्मान के साथ रखने की व्यवस्था की जायेगी। वैसे बच्चें जो अनाथ हैं उनको पढ़ना एवं रहना और सभी प्रकार की सुविधा उपलब्ध करायी जायेगी ताकि वह भारत का भविष्य बनकर राष्ट्र की सेवा करने के योग्य बनाकर संगठन अपना दायित्व का निर्वहन करेगा। श्रुति कम्युनिकेशन ट्रस्ट एवं केवल सच सामाजिक संस्थान के बैनर तले देश के सभी प्रमुख शहरों में सेमिनार कराकर आम भारतीय ‘को जागरूक करने का सार्थक प्रयास होगा। हम सभी सदस्य अगर एक वर्ष पूरी निष्ठा, कर्मठता, ईमानदारी, त्याग-समर्पण की भावना से तो एक साल में हम, आप और संगठन का ढांचा कितना विशाल होगा इसकी कल्पना से मन प्रफूलित हो उठता है।